शूटिंग दिग्गज अभिनव बिंद्रा और भारतीय शूटिंग टीम के हाई-परफॉर्मेंस डायरेक्टर (एचपीडी) डॉ. पियरे ब्यूचैम्प के नेतृत्व वाले पैनल में जिन्होंने पांच दिवसीय (20-24, 2024 मई) वर्कशॉप और सर्टिफिकेशन प्रोग्राम के पहले दिन प्रतिभागियों को संबोधित किया। शूटिंग एथलीटों के जीवन में खेल मनोवैज्ञानिकों की महत्वपूर्ण भूमिका पर आयोजित की जा रही है यह कार्यशाला।
यह कार्यक्रम राष्ट्रीय राजधानी में डॉ. कर्णी सिंह शूटिंग रेंज (डीकेएसएसआर) में नेशनल सेंटर फॉर स्पोर्ट्स साइंस एंड रिसर्च (एनसीएसएसआर) द्वारा नेशनल राइफल एसोसिएशन ऑफ इंडिया (एनआरएआई), टारगेट ओलंपिक पोडियम स्कीम (टॉप्स) और नेताजी सुभाष नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ स्पोर्ट्स (एनएसएनआईएस), पटियाला के सहयोग से आयोजित किया जा रहा है।
प्रख्यात खेल वैज्ञानिक, उच्च-प्रदर्शन प्रशिक्षकों, शूटिंग चैंपियन और प्रशासकों के नेतृत्व में व्याख्यान, पैनल चर्चा और व्यावहारिक प्रशिक्षण सत्रों के संयोजन के माध्यम से, कार्यक्रम प्रतिभागियों को अत्याधुनिक रणनीतियों और व्यावहारिक हस्तक्षेपों से परिचित कराएगा।
बीजिंग ओलंपिक के स्वर्ण पदक विजेता बिंद्रा और डॉ. ब्यूचैम्प के अलावा, राष्ट्रीय शूटिंग कोच समरेश जंग, रौनक पंडित के साथ-साथ अन्य चैंपियन खिलाड़ी, कोच और प्रशासक भी उपस्थित थे।
शूटिंग एथलीटों की सफलता में खेल मनोविज्ञान की महत्वपूर्ण भूमिका को पहचानते हुए, इस सर्टिफिकेशन प्रोग्राम का उद्देश्य, कोचों और एथलीटों को आवश्यक मानसिक प्रशिक्षण उपकरणों से लैस करना है। इस कार्यक्रम का उद्देश्य शूटिंग में उच्च प्रदर्शन करने वाले एथलीटों के लिए मानसिक स्वास्थ्य सहायता में मौजूद अंतर को काम करना है।
कार्यक्रम यह भी बताता है कि निशानेबाज मनोवैज्ञानिक बाधाओं को प्रभावी ढंग से प्रबंधित करने, रेंज पर अपने प्रदर्शन को अनुकूलित करने और दबाव में संयम बनाए रखने, महत्वपूर्ण क्षणों के दौरान उच्चतम प्रदर्शन करने के लिए तकनीक कैसे विकसित कर सकते हैं।